Jabalpur News : कार्तिक पूर्णिमा पर नर्मदा तटों पर लगा आस्था का मेला
हिंदू धर्म में कार्तिक पूर्णिमा का विशेष महत्व माना जाता है। इस दिन पूजापाठ के साथ दानपुण्य करने और गंगास्नान करने से आपके सभी कष्ट दूर होते हैं और कई जन्मों के पापों का अंत होता है।
कार्तिक पूर्णिमा (Kartik Purnima) पर शुक्रवार को नर्मदा तटों पर आस्था (Faith) और श्रद्धा का संगम उमड़ पड़ा। लाखों श्रद्धालुओं ने पुण्य सलिला जीवनदायिनी माँ नर्मदा के पावन तटों पर डुबकी लगाकर पुण्य स्नान किया। इसके अलावा दीपदान, पूजन, हवन और भण्डारों का आयोजन भी नर्मदा तटों पर किया गया। सुबह से ही जबलपुर के नर्मदा (Narmada) नदी के पावन तटों ग्वारीघाट, उमाघाट, जिलहरीघाट, तिलवारा घाट, भेड़ाघाट, लम्हेटा घाट में बड़ी संख्या में श्रद्धालु पहुंचने लगे थे।
गुरूनानक जयंती (guru nanak jayanti) का शासकीय अवकाश होने के कारण भी शासकीय सेवक भी कार्तिक पूर्णिमा पर गंगा और नर्मदा स्नान करने में पीछे नहीं रहे। कार्तिक पूर्णिमा के दिन जहां देवता भी धरती पर आते हैं क्योंकि इस दिन देव दिवाली (Dev Diwali) का पर्व भी मनाया जाता है। कार्तिक पूर्णिमा पर गंगा स्नान और नर्मदा स्नान का विशेष महत्व है।
पौराणिक मान्यता
ऐसी पौराणिक मान्यता है कि कार्तिक पूर्णिमा पर नर्मदा स्नान के साथ भगवान भोलेनाथ के दर्शन और पूजा करने से सौ गुना पुण्य लाभ की प्राप्ति होती है। इसलिए नर्मदा तटों पर भारी भीड़ देखने को मिली। श्र्धलुओ ने पूजन पाठ कर के परिवार की सुख समृद्धि की कामना की।