रिश्वतखोर वेटनरी डॉक्टर को लोकायुक्त ने दबोचा
प्रदेश के शासकीय कार्यालयों में भ्रष्टाचार के मामले लगातार बढ़ते जा रहे है।
प्रदेश के शासकीय कार्यालयों में भ्रष्टाचार के मामले लगातार बढ़ते जा रहे है। ऐसा ही एक मामला छिंदवाड़ा के जुन्नारदेव तहसील में सामने आया जहा कृत्रिम गर्भाधान के प्रोत्साहन राशि में कमीशन के तौर पर 25000 की रिश्वत मांगने वाले पशु चिकित्सा विस्तार अधिकारी डॉक्टर को जबलपुर लोकायुक्त की टीम ने 20000 की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथो धर दबोचा।
क्या था पूरा मामला
छिंदवाड़ा के जुन्नारदेव तहसील के ग्राम जमकुंडा निवासी सुरेश यदुवंशी पिछले काफी समय से मैत्री गौ सेवक होकर शासकीय योजना के तहत राष्ट्रव्यापी कृत्रिम गर्भाधान कार्यक्रम के तहत गोवंशीय/भैंसवंशीय पशुओं की कृत्रिम गर्भाधान का काम कर रहे है। सुरेश ने वर्ष 2021-22 में कृत्रिम गर्भाधान के तहत काम किया था जिसकी प्रोत्साहन राशि 45000 रुपए प्राप्त हुई थी जिसमें से कमीशन के तौर पर पशु चिकित्सा विस्तार अधिकारी डॉक्टर योगेश कुमार सेमिल द्वारा 25000 रिश्वत की मांग की गई।
जांच के बाद लोकायुक्त ने बिछया जाल
इस संबंध में सुरेश द्वारा लोकायुक्त में शिकायत दी गई जिसकी शिकायत सत्यापन के बाद मंगलवार को जबलपुर लोकायुक्त की टीम ने कार्यालय पशु चिकित्सा विस्तार अधिकारी विकासखंड दातलावादी जुन्नारदेव जिला छिंदवाड़ा में पशु चिकित्सा विस्तार अधिकारी डॉक्टर योगेश कुमार सेमिल को 20000 रिश्वत लेते रंगे हाथों पकड़ा। लोकायुक्त जबलपुर टीम के इंस्पेक्टर कमल सिंह उईके, इंस्पेक्टर मंजू किरण तिर्की, इंस्पेक्टर नरेश बेहरा एवं 5 अन्य सदस्यों ने इस कार्यवाही को अंजाम दिया। पकडे गए आरोपी के विरुद्ध भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत कार्यवाही की जा रही है!
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