यादगार पल:पायल कपाड़िया की ऑल वी इमेजिन एज लाइट को कान में मिला स्टैंडिंग ओवेशन
पायल कपाड़िया की ऑल वी इमेजिन एज लाइट को कान फिल्म फेस्टिवल में स्टैंडिंग ओवेशन मिला है। कान में इस फिल्म को आठ मिनट का स्टैंडिंग ओवेशन मिला। यह भारतीय सिनेमा के लिए ऐतिहासिक पल बन गया।
पायल कपाड़िया की ऑल वी इमेजिन एज लाइट को कान फिल्म फेस्टिवल में स्टैंडिंग ओवेशन मिला है। कान में इस फिल्म को आठ मिनट का स्टैंडिंग ओवेशन मिला। यह भारतीय सिनेमा के लिए ऐतिहासिक पल बन गया। लेट नाइट स्लॉट में फिल्म की स्क्रीनिंग हुई। यह न सिर्फ पायल कपाड़िया की निजी जीत है, बल्कि भारतीय फिल्म निर्माण में एक यादगार पल भी है। तीस वर्षों में यह पहला मौका है, जब कोई भारतीय फिल्म कान में प्रतिष्ठित अवॉर्ड की प्रतिस्पर्धा में शामिल हुई।
दो महिलाओं की जिंदगी पर बनी फिल्म-
ऑल वी इमेजिन एज लाइट एक मलयालम-हिंदी भाषा की फिल्म है। यह दो युवा महिलाओं, प्रभा और अनु के जीवन की कहानी है और उनके जीवन की जटिलताओं को दिखाती है। प्रभा मुंबई की एक मेहनती नर्स है, जो अपने अलग हो चुके पति से अचानक मिले गिफ्ट से अपनी रोजमर्रा की जिंदगी में कठिनाईयां महसूस करती है। वहीं, उसकी रूममेट अनु अपने प्रेमी के साथ रहने के लिए हलचल भरे शहर में निजता ढूंढने के लिए संघर्ष से गुजरती है।
मुंबई में 25 दिनों तक हुई शूटिंग-
फिल्म ऑल वी इमेजिन एज लाइट पाम डिओर पुरस्कार (गोल्डन पाम अवॉर्ड) की प्रतिस्पर्धा में शामिल हुई। पायल कपाड़िया पहली भारतीय महिला फिल्म निर्माता हैं, जिनकी फिल्म को यह सम्मान मिला है। पायल कपाड़िया की यह पहली फिक्शन फीचर फिल्म है। इसकी शूटिंग मुंबई की तपती गर्मी में लगातार 25 दिनों तक की गई थी। इसके अलावा 25 दिन फिल्म की शूटिंग रत्नागिरी में भी हुई।