झोलाछाप डॉक्टरों पर गिरेगी गाज,जबलपुर कलेक्टर ने जारी किया फरमान

कलेक्टर दीपक कुमार सक्सेना ने बड़ा कदम उठाया है। बगैर डिग्री के इलाज करने वाले झोलाछाप डॉक्टरों की अब खैर नहीं। दरअसल कलेक्टर ने आदेश जारी किया है जिसमें झोला छाप डॉक्टरों पर सख्त प्रतिबंध लगाने को कहा गया है। झोलाछाप डॉक्टरों की खोजबीन फिर कार्रवाई के लिए स्वास्थ्य विभाग के जिम्मेदार अधिकारी को अलग से दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं।

Sep 15, 2024 - 12:09
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झोलाछाप डॉक्टरों पर गिरेगी गाज,जबलपुर कलेक्टर ने जारी किया फरमान
The quacks who treat without degrees are no longer in good health

जबलपुर जिले के कई इलाकों में झोलाछाप डॉक्टर सक्रिय हैं। ये फर्जी डॉक्टर अवैध रूप से क्लीनिक संचालित कर लोगों की जान से खिलवाड़ करते हैं।जिसके पास दवाओं का ज्ञान हैं वो भी क्लीनिक चला रहा हैं, जिसके पास जानकारी नहीं वो भी अस्पताल की तरह क्लीनिक खोलकर बैठ गया है। यह लोग मरीजों को भर्ती तक कर रहे हैं। जहां उनको इलाज दिया जाता है और जब मामला बिगड़ जाता है तब मरीजों को उनके हाल पर छोड़ दिया जाता है।इसके कई मामले लगातार सामने आते रहे हैं। इसकी शिकायत मिलने के बाद कलेक्टर दीपक कुमार सक्सेना ने बड़ा कदम उठाया है। बगैर डिग्री के इलाज करने वाले झोलाछाप डॉक्टरों की अब खैर नहीं। दरअसल कलेक्टर ने आदेश जारी किया है जिसमें झोला छाप डॉक्टरों पर सख्त प्रतिबंध लगाने को कहा गया है। झोलाछाप डॉक्टरों की खोजबीन फिर कार्रवाई के लिए स्वास्थ्य विभाग के जिम्मेदार अधिकारी को अलग से दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं।

जुर्माना से लेकर जेल का प्रावधान


कलेक्टर सक्सेना ने आदेश में कहा कि बिना उचित पंजीयन इलाज करना दंडनीय अपराध है। इसके लिए 3 वर्ष का कारावास व 50 हजार रुपए के जुर्माने से दंडित भी किया जा सकता है। उन्होंने बिना वैधानिक डिग्री प्राप्त किए अपने नाम के आगे डॉक्टर की उपाधि का इस्तेमाल करने वालों पर भी कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं।