भारत लौटी विनेश फोगाट, एयरपोर्ट पर स्वागत के दौरान भावुक हुईं विनेश
भारत की दिग्गज पहलवान विनेश फोगाट पेरिस से भारत लौट आई हैं। उनका नई दिल्ली एयरपोर्ट पर जोरदार स्वागत किया गया। विनेश के स्वागत के लिए फैंस ढोल नगाड़ों के साथ दिल्ली एयरपोर्ट पहुंचे। वहीं, पहलवान बजरंग पूनिया और साक्षी मलिक भी एयरपोर्ट पर नजर आए।
भारत की दिग्गज पहलवान विनेश फोगाट पेरिस से भारत लौट आई हैं। उनका नई दिल्ली एयरपोर्ट पर जोरदार स्वागत किया गया। विनेश के स्वागत के लिए फैंस ढोल नगाड़ों के साथ दिल्ली एयरपोर्ट पहुंचे। वहीं, पहलवान बजरंग पूनिया और साक्षी मलिक भी एयरपोर्ट पर नजर आए। उनसे मिलते ही विनेश भावुक हो गईं और फूट फूट कर रोने लगीं। विनेश का गांव पहुंचने तक 20 जगहों पर स्वागत किया जाएगा। विनेश पेरिस ओलंपिक में पदक जीतने से चूक गई थीं। महिलाओं की 50 किग्रा वर्ग के फाइनल में पहुंचने के बाद उन्हें बढ़े हुए वजन की वजह से डिसक्वालिफाई कर दिया गया था।
जानिए क्या है वीडियो में-
वीडियो में आप देख सकते हैं कि लोगों ने एयरपोर्ट से बाहर निकलते ही विनेश को कंधे पर उठा लिया और कंधे पर उठाकर ही गाड़ी तक ले गए। इस दौरान भी विनेश का आंसू नहीं रुके। वह गाड़ी पर बजरंग और साक्षी के साथ खड़ी हुईं और रोती रहीं। विनेश ने कहा कि मैं पूरे देशवासियों को धन्यवाद कहती हूं। मैं बहुत ही भाग्यशाली हूं। वहीं, पहलवान साक्षी मलिक ने कहा, विनेश ने देश के लिए जो किया है, वह बहुत कम लोग कर सकते हैं। उन्हें और अधिक सम्मान और सराहना मिलनी चाहिए। उन्होंने पदक के लिए अपना सर्वश्रेष्ठ प्रयास किया। वहीं, बजरंग पूनिया ने कहा- देशवासी उन्हें जबरदस्त प्यार दे रहे हैं। आप देख सकते हैं देश ने उनका किस तरह स्वागत किया गया है। दरअसल. विनेश पेरिस में पदक से चूक गई थीं। उनका वजन फाइनल से पहले 100 ग्राम ज्यादा रहा था, जिसके बाद उन्हें डिसक्वालिफाई कर दिया गया था। फिर विनेश ने खेल पंचाट में भी संयुक्त रजत पदक देने की अपील की थी, लेकिन खेल पंचाट ने उनकी अपील को खारिज कर दिया था। पदक न जीत पाने से दुखी विनेश ने कुश्ती से संन्यास का एलान कर दिया था। यह उनका तीसरा ओलंपिक था। वहीं, साक्षी मलिक के पति और पहलवान सत्यव्रत कादियान ने कहा, विनेश एक फाइटर थीं, हैं और रहेंगी। वह हमारे लिए एक चैंपियन हैं और हम एक चैंपियन की तरह उनका स्वागत करने में कोई कसर नहीं छोड़ रहे हैं। हम उन्हें एक स्वर्ण पदक विजेता के रूप में मान रहे हैं। वह 53 किलोग्राम वर्ग में प्रतिस्पर्धा करती थीं। उन्होंने 50 किलोग्राम वर्ग में प्रतिस्पर्धा क्यों की, यह एक बड़ा सवाल है कि वह 50 किलोग्राम वर्ग में स्थानांतरित होने का क्या कारण था।