Mp news : कामकाजी महिलाओ को मिलेगी नई सौगात , महिला हॉस्टल का होगा निर्माण
प्रदेश की राजधानी भोपाल और इंदौर के औद्योगिक क्षेत्रों को कवर करने वाले 10 शहरों में सरकार कामकाजी महिला हॉस्टल बनाने जा रही है।इसमे नौकरी के लिए किराये के मकानों में रहने वाली महिलाएं और युवतियां ठहर सकेंगी |
मध्य प्रदेश मे कामकाजी महिलाओ को मोहन सरकार नई सौगात देने जा रही है। प्रदेश की राजधानी भोपाल और इंदौर के औद्योगिक क्षेत्रों को कवर करने वाले 10 शहरों में सरकार कामकाजी महिला हॉस्टल (hostel) बनाने जा रही है।इसमे नौकरी के लिए किराये के मकानों में रहने वाली महिलाएं और युवतियां ठहर सकेंगी, जो कि अपने घरों से बाहर इन शहरों में नौकरी के लिए आई हैं। इन महिलाओ को घर से बाहर अकेले रहने से पर असामाजिक तत्वों से खतरा महसूस होता है।
प्रदेश सरकार ने तय किया है कि ऐसी महिलाओं और युवतियां को कम किराये पर हॉस्टल सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी, इसके साथ ही सुरक्षा की भी पूरी गारंटी दी जाएगी। फिलहाल सागर जैसे कुछ शहरों में अभी दूसरे भवनों में ये व्यवस्थाएं शुरू कराई है। दूसरे चरण में अन्य शहरों को भी इस योजना में शामिल किया जाएगा।
हॉस्टल में ये सुविधाएं रहेंगी
बेडरूम,डबल शेयरिंग बेडरूम (bedroom), ट्रिपल शेयरिंग बेडरूम सुविधा वाले होंगे। जिसमे स्टडी टेबल-कुर्सी, वार्डरोब अलमारी,अटैच टॉयलेट और अन्य सुविधाये रहेगी।
हॉस्टल में कामकाजी महिलाएं,लड़कियां अपनी आवश्यकता और बजट के अनुसार सिंगल महिला,दो महिला एवं तीन महिलाओं के ठहरने वाले कमरों का चयन कर रह सकती हैं।
कामकाजी महिलाओं के बच्चों के लिए डे-केयर रूम होंगे।जिससे महिलाओं के बच्चों की बेहतर देखभाल हो सकेगी।
हॉस्टल में कॉमन किचन और डाइनिंग हॉल की सुविधा होगी। कम से कम कीमत पर बेहतर गुणवत्ता वाला दोनों टाइम का भोजन, नाश्ता, चाय भी उपलब्ध कराई जाएगी।
महिला सुरक्षा का विशेष ध्यान रखते हुए गार्ड रूम बनाए जाएंगे। पार्किंग रहेगी। महिलाओं के टहलने और मॉर्निंग वॉक के लिए वॉकिंग ट्रैक भी रहेंगे। दिव्यांग महिलाओं के लिए रैम्प आदि सुविधा भी होगी |
दो मॉडल पर होगा निर्माण
सरकार ने निर्माण और संचालन के दो मॉडल तैयार किए हैं। पहला मॉडल के तहत ज्यादातर हॉस्टल का निर्माण नगरीय निकाय करेंगे। संचालन की जिम्मेदारी भी नगरीय निकाय पर रहेगी। दूसरे मॉडल में कुछ हॉस्टल के निर्माण की योजना पीपीपी आधार पर बनाई है। ऐसे हॉस्टल का संचालन संबंधित एजेंसी द्वारा ही किया जाएगा।